Betul News: पुलिस प्रशासन की बड़ी कार्रवाई एक दिन पहले पकड़े थे दो ट्रैक्टर रेत से भरे दूसरे दिन लाखों का लोहा जाप


Betul News:(सारनी)। भारत स्टील ट्रेड बेंगलुरु की कंपनी के माध्यम से मध्य प्रदेश पावर जेनरेटिंग कंपनी से लगभग 800 टन स्क्रैप ऑक्शन में लिया गया। जिसमें कंपनी के माध्यम से 200 टन स्क्रैप का पेमेंट जमा कर स्क्रैप उठाने का कार्य प्रारंभ किया गया। जो कार्य बीते दिनों से चल रहा था। मगर प्लांट के स्टोर से लोड होकर निकलने वाले ट्रक में निर्धारित वजन से 13 टन अधिक लोहा निकाला गया। रात्रि 2:30 बजे के आसपास लोहे से भरे ट्रक को पुलिस ने थाना सारनी लाकर खड़ा किया है।

अभी इस मामले को लेकर पुलिस जांच कर रही है। थाना प्रभारी रत्नाकर हिंगवे ने बताया कि अवैध रूप से लोहे की गाड़ी भरकर ले जाने की सूचना मिलते ही मौका स्थल पर पहुंचे। गुणवंत बाबा के पास से इस वाहन को रात्रि 9:30 बजे पकड़ लिया। इस वाहन को रात्रि 11 बजे डब्ल्यूसीएल छतरपुर खदान के तौलकांटा में तुलवाया गया और इसके बाद घोड़ाडोंगरी तौलकांटा में पुनः तुलवाया गया। दोनों तौलकांटा में 13 टन लोहे का स्क्रैप अधिक निकला है। इसके बाद फिर प्लांट सीएचपी तौलकांटा में एमपीपीजीसीएल के अधिकारी व सुरक्षा विभाग की उपस्थिति में तोलने पर भी 13 टन लोहे का स्क्रैप अधिक पाया गया।

इस वजह से थाना सारनी में वाहन को लाकर खड़ा किया गया। गौरतलब हो कि 1 सप्ताह पहले ही संजय निकुंज नर्सरी से करीब 5 टन लोहे का स्क्रैप पुलिस ने जप्त कर पुलिस एक्ट के तहत कार्रवाई की थी। स्क्रैप को लेकर किसी ने भी अपना दावा नहीं जताया है। जानकार सूत्रों ने बताया कि मंगलवार की शाम 5:48 उक्त वाहन पावर प्लांट के स्टोर से बाहर निकाला गया। चालक के पास विद्युत मंडल से मिली बिल्टी में गाड़ी बाहर निकलने का टाइम 5:48 पर लिखा हुआ है। इस गाड़ी में 9.9 टन स्क्रैप भरे होने की लिखित जानकारी बिल्टी पर अंकित है। जबकि पुलिस ने पकड़े जाने के बाद 13 टन अवैध रूप से इस गाड़ी में लोहे का स्क्रैप कैसे आया। यह सवाल सबके सामने खड़ा है।

सूत्रों की माने तो सीएसपी यार्ड के तौलकांटा में पूर्व में भी चीप लगाकर चोरी करना पाया गया था। इसी तकनीक का इस्तेमाल लोहे से भरे स्क्रैप वाहन को गाड़ी के पासिंग के हिसाब से वजन दर्शाया जा रहा है। लेकिन गाड़ी में क्षमता से काफी अधिक मात्रा में लोहा भरा हुआ निकला। जिससे सुरक्षा विभाग और स्टोर के लोगों की मिलीभगत का खामियाजा जनरेटिंग कंपनी को आर्थिक नुकसान के रूप में उठाना पड़ रहा है। भारत स्टील ट्रेड कंपनी ने 800 टन स्क्रैप का लाट जनरेटिंग कंपनी से लिया है महंगे दामों पर ले लिया है। अभी उसने दो सौ टन का पैसा जनरेटिंग कंपनी को जमा कर स्क्रैप उठाने का कार्य प्रारंभ किया है। घाटे में लिए काम को सुरक्षा विभाग और स्टोर के अधिकारियों की मिलीभगत से खुद और ठेका कंपनी को लाभ पहुंचाया जा रहा है।

कहां गए ईमानदार सुरक्षा अधिकारी

मध्य प्रदेश पावर जेनरेटिंग कंपनी से निकलने वाले सामान पर जब सुरक्षा विभाग की पेनी नजर है। तो आखिरकार 14 टन स्क्रैप अवैध रूप से कैसे निकाला गया। यह शोध का विषय बना हुआ है। अब कहां गए प्लांट के ईमानदार सुरक्षा अधिकारी क्या इसीलिए ट्रांसफर के बाद भी नहीं किया जा रहा था रिलीव। एक तरफ तो प्लांट के सुरक्षा अधिकारी के माध्यम से ईमानदारी का चोला पहनकर। ईमानदार होने का ढोंग किया जा रहा।

वहीं दूसरी ओर मुख्य सुरक्षा द्वार से 14 टन स्क्रैप अवैध रूप से निकाला गया। इस बात की भनक तक किसी को ना हो यह अचरज की बात है। इतना ही नहीं सीएचपी में कार्यरत अधिकारी स्क्रैप कांड में संलिप्त ना हो इस बात से भी इनकार नहीं किया जा सकता। इतने बड़े पैमाने पर अवैध स्क्रैप को बाहर निकालना किसी छोटे कर्मचारी के बस की बात नहीं। इस मामले में फिलहाल चार लोगों को सस्पेंड किया गया है। यदि इस मामले उच्च स्तरीय जांच की जाए कई और मास्टरमाइंड अधिकारी इस खेल में सामने आएंगे। सुरक्षा विभाग के साथ-साथ सीएचपी में कार्यरत कई ईमानदार अधिकारी के चेहरों पर से नकाब हटेगा।

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